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चंडीगढ़: एसवाईएल के पानी की हिस्सेदारी के समझौते पर सुप्रीम कोर्ट के फैसले के बाद राज्य की जनता के साथ अन्याय होने का आरोप लगाते हुए पंजाब कांग्रेस के अध्यक्ष अमरिंदर सिंह ने गुरुवार को इसके खिलाफ अपनी लोकसभा सीट से वहीं उनकी पार्टी के विधायकों ने सामूहिक रूप से राज्य विधानसभा से इस्तीफा दे दिया। पंजाब के पूर्व मुख्यमंत्री अमरिंदर ने लोकसभा अध्यक्ष को अपना इस्तीफा भेजा, जिसकी प्रति यहां मीडिया को जारी की गयी। उन्होंने अगले सप्ताह लोकसभा अध्यक्ष से व्यक्तिगत मुलाकात का अनुरोध किया है। पार्टी विधायकों ने भी पंजाब विधानसभा के अध्यक्ष को अपने इस्तीफे भेजे और वे कल सुबह उनसे व्यक्तिगत रूप से मिलकर त्यागपत्र सौपेंगे। सुप्रीम कोर्ट ने सतलज-यमुना लिंक (एसवाईएल) नहर के पानी की हिस्सेदारी के पड़ोसी राज्यों के साथ समझौते के लिए पंजाब द्वारा 2004 में पारित कानून को असंवैधानिक करार दिया था। कैप्टन अमरिंदर ने अपने इस्तीफे में कहा कि उन्होंने अपने राज्य की जनता को सतलज नदी के अति-आवश्यक पानी से वंचित किये जाने के खिलाफ विरोध के तौर पर तत्काल प्रभाव से पंजाब में अमृतसर से 16वीं लोकसभा के सदस्य के तौर पर इस्तीफा देने का फैसला किया। शीर्ष अदालत द्वारा एसवाईएल पर फैसले को पंजाब की जनता के लिए बड़ा झटका बताते हुए अमरिंदर ने यहां कहा कि उन्होंने हमेशा इस मुद्दे पर लोगों के वैध अधिकारों की लड़ाई लड़ी है और इस महत्वपूर्ण मोड़ पर वे राज्य के साथ खड़े हैं।

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