कोलकाता: सरोद वादक उस्ताद अमजद अली खान का मानना है कि 21वीं सदी मानवता के लिए ‘सबसे बुरा’ समय है, एक ऐसा दौर है जहां लोग धर्म के नाम पर एक दूसरे की हत्या कर रहे हैं। पद्म विभूषण से सम्मानित खान ने कहा, ‘‘हमें विश्व में शांति की जरुरत है लेकिन दुर्भाग्य से राजनीति अब धर्म पर आधारित हो गयी है, नेता अपने स्वार्थ की खातिर धर्म के इर्द-गिर्द राजनीति करते हैं। इसलिए यह न केवल भारत में बल्कि पूरी दुनिया के लिए दुर्भाग्यपूर्ण है।’’ खान यहां टाटा स्टील कोलकाता साहित्य सम्मेलन में बोल रहे थे।
उन्होंने कहा, ‘‘21वीं सदी बहुत ही शांतिपूर्ण, सफल होनी चाहिए। लेकिन यह समय पूरी दुनिया के लिए खराब हो गया है। लोग सफर करने से डरते हैं और कोई सुरक्षा नहीं है। ’’ अपने पिता हाफिज अली खान के इन शब्दों ‘हम सभी के एक ही भगवान हैं और हम सभी एक ही नस्ल के हैं’, को याद करते हुए 73 वर्षीय सरोद वादक ने कहा, ‘‘काश, हर धर्मगुरु यह संदेश देते।’’
खान ने कहा कि हर इंसान को दुनिया में शांति एवं सौहार्द्र कायम रखने का प्रयास करना चाहिए। उन्होंने कहा कि शोधवेत्ताओं के कट्टरपंथ के गिरफ्त में आने की घटनाएं सामने आयी हैं जो दर्शाता है कि शिक्षा ने मानव के प्रति सहृदयता एवं दयालुता नहीं पैदा की।