नई दिल्ली: जीएसटी काउंसिल की 49 वीं बैठक के बाद वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने कहा कि सभी जीएसटी मुआवजे का भुगतान किया जाएगा। वित्त मंत्री ने कहा कि सभी राज्यों के अभी तक के जीएसटी कंपनसेशन को आज जारी कर दिया जाएगा। निर्मला सीतारमण ने कहा कि सरकार माल और सेवा कर यानी जीएसटी मुआवजे के पूरे 16,982 करोड़ रुपये का भुगतान अपनी जेब से करेगी।
वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने जीएसटी दरों को निर्धारित करने वाली परिषद की एक बैठक के बाद कहा, "हमने आज घोषणा की है कि जीएसटी मुआवजे का पूरा लंबित बकाया चुका दिया जाएगा।" उन्होंने कहा कि जीएसटी मुआवजे के लंबित शेष कुल 16,982 करोड़ रुपये को मंजूरी दे दी जाएगी। वित्त मंत्री ने कहा कि फिलहाल यह राशि मुआवजा निधि में उपलब्ध नहीं है। हमने इस राशि को अपने स्वयं के खर्च से जारी करने का निर्णय लिया है। वित्त मंत्री ने साफ किया कि केंद्र सरकार राज्यों के लिए इस मुआवजो की रकम को जारी करने के बाद पूरे पांच साल के लिए निर्धारित जीएसटी कंपनसेशन सेस करेगी।
इसके साथ ही उन्होंने बताया कि जीएसटी अपीलेट ट्रिब्यूनल पर कुछ राज्यों के सुझावों को शामिल किया गया है, लेकिन इसके गठन पर सहमति नहीं बनी है। जीएसटी काउंसिल की बैठक में पेंसिल और शार्पनर पर जीएसटी की दरों में कटौती करने का फैसला किया गया है। वित्त मंत्री ने कहा, पेंसिल और शार्पनर पर जीएसटी दरें 18% से घटाकर 12% की गई है। इसके अलावा लिक्विड गुड़ पर जीएसटी खत्म कर दिया गया है, जो कि पहले 18 फीसदी था।
जीएसटी परिषद ने टैग, ट्रैकिंग डिवाइस या डेटा लॉगर्स पर जीएसटी को 18% से घटाकर शून्य करने का निर्णय किया है। वित्त मंत्री ने कहा, जीएसटी काउंसिल की बैठक में सीमेंट पर अभी विचार नहीं हुआ। वहीं, मोटे अनाज को लेकर अगली जीएसटी काउंसिल की बैठक में विचार किया जाएगा।
वित्त मंत्री ने कहा, आज की बैठक में ऑनलाइन गेमिंग पर जीओएम की रिपोर्ट को नहीं लिया जा सका, क्योंकि जीओएम के अध्यक्ष, मेघालय के मुख्यमंत्री कोनराड संगमा राज्य में चुनाव के कारण बैठक में शामिल नहीं हो पाए। वही, पान मसाला और गुटखा पर अब प्रोडक्शन बेस्ड जीएसटी लगाया जाएगा। कैपेसिटी बेस्ड टैक्सेशन लागू करने के फैसले से टैक्स चोरी मामले में कमी आएगी।