बेंगलुरू: कर्नाटक की राजधानी बंगलूरू में हुई हिंसा मामले में कांग्रेस पार्षद और पूर्व महापौर संपत राज की गिरफ्तारी का कांग्रेस की कर्नाटक इकाई ने बचाव किया। कर्नाटक कांग्रेस के अध्यक्ष डीके शिवकुमार ने सत्तारूढ़ भाजपा पर कांग्रेस को बदनाम करने का आरोप लगाया। वहीं कांग्रेसी नेता और पूर्व बंगलूरू के पूर्व महापौर संपत राज को बंगलूरू हिंसा मामले में दो दिन की पुलिस हिरासत में भेजा गया था।
11 अगस्त को बंगलूरू के देवरा जीवनहल्ली और कडुगोंडनहल्ली इलाके में हिंसा हुई थी, जिसमें 4 लोगों की मौत हो गई थी। नाराज भीड़ ने देवरा जीवनहल्ली और कडुगोंडनहल्ली थानों में आग लगा दी थी और सरकारी व निजी संपत्तियों को नुकसान पहुंचाया था। इसके अलावा भीड़ में शामिल लोगों ने कांग्रेस विधायक अखंड श्रीनिवास मूर्ति के घर पर भी आग लगा दी थी।
संपत राज पर ये हैं आरोप
पूर्व मेयर संपत राज के खिलाफ कुछ दिन पहले गैर जमानती वारंट जारी किया गया था और उनके खिलाफ डीजे हल्ली में 400 पन्नों की प्रारंभिक चार्जशीट दाखिल की गई थी। चार्जशीट के मुताबिक संपत राज पर पुलकेशी नगर के कांग्रेस विधायक अखंड श्रीनिवास मूर्ति के घर में आग लगाने वाली हिंसक भीड़ को उकसाने का आरोप है। इसके अलावा उन पर बंगलूरू हिंसा, विधायक अखंड श्रीनिवास मूर्ति और उनकी बहन जयंती को निशाना बनाने की साजिश रचने का आरोप है।
कोरोना इलाज के दौरान हुए थे फरार
संपत राज के कोरोना वायरस से संक्रमित होने के बाद अस्पताल में भर्ती कराया गया था, लेकिन एक निजी अस्पताल में इलाज के दौरान वह फरार हो गए थे। पुलिस ने हाल ही में संपत राज से सहयोगी को अरेस्ट किया था, जिसके बाद उनकी गिरफ्तारी हुई है। हालांकि, गिरफ्तारी के बारे में पुलिस ने विस्तृत जानकारी नहीं दी है।
क्या है पूरा मामला
बता दें कि कांग्रेस विधायक आर अखंड श्रीनिवास मूर्ति के एक रिश्तेदार ने फेसबुक पर कथित भड़काऊ पोस्ट डाला था, जिसके बाद 11 अगस्त को बंगलूरू में हिंसा भड़क गई थी, जिसमें 4 लोगों की मौत हो गई थी। मामले में बंगलूरू पुलिस ने 65 मामले दर्ज किए थे और 350 से अधिक लोगों को गिरफ्तार किया था।