अहमदाबाद: गुजरात हाई कोर्ट ने कद्दावर भाजपा विधायक और राज्य के शिक्षा मंत्री भूपेन्द्र सिंह चूड़ासमा को आज बड़ा झटका देते हुए अहमदाबाद जिले की धोलका सीट पर पिछले चुनाव में मिली उनकी जीत को आज रद्द कर दिया। भाजपा के वरिष्ठ नेताओं में से एक और खासे रसूखदार माने जाने वाले चूड़ासमा ने 2017 में हुए चुनाव में कांग्रेस के अश्विन राठौड़ को मात्र 327 मतों के बेहद नजदीकी अंतर से हराया था। निवार्चन अधिकारी धवल जानी ने इससे पहले 429 पोस्टल बैलेट को खारिज कर इन्हें मतगणना में शामिल नहीं किया था।
अश्विन राठौड़ ने इसके बाद अदालत का दरवाजा खटखटाया था। उनका कहना था कि अगर पोस्टल बैलट की भी गिनती हुई होती तो परिणाम उनके पक्ष में जा सकता था। न्यायमूर्ति परेश उपाध्याय की अदालत ने फरवरी में ही इस मामले की सुनवाई पूरी कर ली थी। उन्होंने आज यानी मंगलवार को अपना फैसला सुनाते हुए चूड़ासमा के निवार्चन को खारिज कर दिया। हालांकि, वह इस मामले में ऊपरी अदालत में अपील कर सकते हैं। गौरतलब है कि इस चर्चित मामले की सुनवाई के दौरान मतगणना के सीसीटीवी फुटेज में चूड़ासमा के निजी सचिव को मतगणना केंद्र के अंदर मोबाइल फोन पर बात करते हुए देखा गया था।
निवार्चन अधिकारी जानी को भी उनके बतार्व के लिए अदालत ने फटकार लगायी थी।
इस मामले को सुप्रीम कोर्ट में पहले ही चुनौती देने का प्रयास करने वाले चूड़ासमा को सितंबर में अदालत के समक्ष पेश होना पड़ा था और उन्होंने सुप्रीम कोर्ट जाने के अपने निर्णय के लिए अदालत में खेद भी जताया था। चूडासमा को गुजरात भाजपा का एक कद्दावर नेता माना जाता है। वह शिक्षा के अलावा कुछ अन्य विभागों के भी प्रभारी हैं।