भोपाल: प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी द्वारा नोटबंदी को उचित ठहराने के एक दिन बाद वित्त मंत्री अरुण जेटली ने शनिवार को कहा कि नोटबंदी तथा माल एवं सेवा कर (जीएसटी) केवल राजनीतिक कदम नहीं थे, बल्कि अत्यधिक नीतिपरक कदम थे। इनसे विकास की गति बढ़ी है और प्रत्यक्ष रूप से देश के गरीब को लाभ हुआ है। नोटबंदी और जीएसटी पर पूछे गये सवालों के जवाब में जेटली ने यहां संवाददाताओं से कहा, ‘‘ये नोटबंदी एवं जीएसटी केवल राजनीतिक कदम नहीं हैं। ये अत्यधिक नीतिपरक कदम हैं।’’
उन्होंने आगे कहा, ‘‘इससे जब सरकार का साधन बढ़ता है तो प्रत्यक्ष रूप से देश के गरीब को उससे लाभ होता है।’’ जेटली ने बताया कि नोटबंदी से आयकर रिटर्न भरने में कई गुना वृद्धि हुई है और इससे केन्द्र तथा राज्यों का राजस्व काफी बढ़ा है। उन्होंने आंकड़े देते हुए कहा, ‘‘जब मोदी जी की सरकार आई थी तो 3.8 करोड़ लोग आयकर रिटर्न भरते थे। पिछले चार साल में 6.86 (करोड़) हो गया। और शायद पांचवां वर्ष समाप्त होने तक वह 3.8 करोड़ के डबल के नजदीक होगा।’’
उन्होंने कहा कि यह बात छिपी हुई नहीं है कि भारत में अनेक लोग कर नहीं देते थे। उनके अघोषित पैसे को बैंकों में जमा करने के लिए नोटबंदी ने उन्हें मजबूर किया।
कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी ने मध्य प्रदेश के देवरी, बरघाट एवं मंडला में कल तीन चुनावी सभाओं को संबोधित करते हुए आरोप लगाया था कि नोटबंदी भारत का सबसे बड़ा घोटाला था। इसके एक दिन बाद जेटली ने इसे अत्यधिक नीतिपरक कदम बताया है। वहीं, प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने नोटबंदी को उचित ठहराते हुए शुक्रवार को मध्य प्रदेश के शहडोल में एक चुनावी सभा में कहा था कि इससे दबा हुआ रुपया बैंकिंग प्रणाली में वापस लाया गया और इसका उपयोग सरकार जनहित के कार्यों में कर रही है।