अहमदाबाद: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने शुक्रवार को गुजरात के सोमनाथ मंदिर परिसर में माता पार्वती मंदिर के शिलान्यास सोमनाथ समुद्र दर्शन तथा संग्रहालय में के शिलान्यास व लोकार्पण समारोह को आनलाइन संबोधित करते हुए कहा कि आतंक का अस्तित्व अधिक समय तक नहीं रह सकता, कुछ समय तक ताकत के बल पर सत्ता हथिया सकता है, लेकिन उसका टिके रहना मुश्किल होता है। प्रधानमंत्री ने नाम लिए बिना अफगानिस्तान में बंदूक की नोक पर सत्ता हथियाने वाले तालिबान की ओर की ओर स्पष्ट इशारा है। मोदी ने कहा आतंक से आस्था को नहीं कुचला जा सकता सोमनाथ मंदिर इसका जीता जागता उदाहरण है।
सोमनाथ परिसर में किया कई परियोजनाओं का शिलान्यास
प्रधानमंत्री मोदी ने कहा है कि सोमनाथ मंदिर समारोह के समारोह में दिल्ली से आनलाइन जुड़ रहा हूं लेकिन मन से वही पर महसूस करता हूं।
उन्होंने कहा, सरदार पटेल ने आजादी के बाद सोमनाथ मंदिर के जीर्णोद्धार अपने दृढ़ संकल्प से किया मैं उनको नमन करता हूं। समारोह में केंद्रीय गृह एवं सहकारिता मंत्री अमित शाह, भाजपा के वरिष्ठ नेता लालकृष्ण आडवाणी जहां वर्चुअल शामिल हुए वहीं मुख्यमंत्री विजय रुपाणी उपमुख्यमंत्री नितिन पटेल तथा गुजरात के पर्यटन मंत्री जवाहर चावड़ा सोमनाथ में मौजूद रहे।
श्रद्धालुओं को जूना सोमनाथ मंदिर दर्शन का भी होगा लाभ
प्रधानमंत्री ने कहा कि पर्यटन से जब आधुनिकता जुड़ती है तो कैसे परिवर्तन आते हैं यह गुजरात में देखा है। कच्छ से लेकर द्वारका सोमनाथ तीर्थ स्थलों का विकास आसपास के क्षेत्रों में भी बदलाव लाया। देश व दुनिया के श्रद्धालु व पर्यटक यहां आते हैं यहां आने वाले श्रद्धालुओं को जूना सोमनाथ मंदिर के भी दर्शन के लाभ होंगे। पार्वती माता का मंदिर निर्माण एक अभूतपूर्व घटना है। समुद्र के किनारे खड़े हमारे मंदिर पर्यटन व आस्था के बड़े केंद्र हैं जिससे वहां के आसपास के इलाकों का भी विकास होता है।
कार्यक्रम के दौरान प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने पार्वती मंदिर की आधारशिला भी रखी। इसका निर्माण कुल 30 करोड़ रुपये के परिव्यय से किया जाना प्रस्तावित है। इसमें सोमपुरा सलात शैली में मंदिर निर्माण, गर्भ गृह और नृत्य मंडप का विकास शामिल है। इस खास अवसर पर गुजरात के मुख्यमंत्री विजय रूपाणी और अन्य गणमान्य व्यक्ति सोमनाथ मंदिर में मौजूद हैं। माता पार्वती का यह मंदिर श्वेत पत्थरों से बनाया जाएगा तथा इसकी ऊंचाई 71 फीट होगी। सोमनाथ मंदिर ट्रस्ट के ट्रस्टी पी के लहरी ने बताया कि सोमनाथ मंदिर के ठीक सामने पार्वती माता के मंदिर का निर्माण होगा। सफेद पत्थरों से बनने वाले इस मंदिर की ऊंचाई 71 फीट की होगी तथा अपने आप में ऐसा पहला मंदिर होगा।
जानें क्या होगी मंदिर की विशेषता
मंदिर 66 स्तंभों पर बनेगा तथा इसका क्षेत्रफल 18891 फीट होगा जिसमें गर्भगृह सभा मंडप, माताजी की सभा जैसे खंड होंगे। सोमनाथ मंदिर की तरह ही इस मंदिर के दक्षिण भाग से समुद्र का दर्शन होगा। ट्रस्टी जे डी परमार ने बताया कि भगवान शिव के मंदिर के पास शिव पंचायत की परंपरा है इसी को ध्यान में रखते हुए यहां पर पार्वती मंदिर के निर्माण का संकल्प लिया गया था। शिव पंचायत में भगवान गणपति, गंगाजी, हनुमान जी की प्रतिमाएं भी होती हैं।
गौरतलब है कि यह न्यास गिर-सोमनाथ जिले में प्रभास पाटन कस्बे में स्थित विश्व प्रसिद्ध सोमनाथ मंदिर के कार्यों का प्रबंधन करता है। न्यास के सचिव प्रवीण लाहेरी से मिली जानकारी के अनुसार प्रधानमंत्री मोदी यहां तीन परियोजनाओं का शुभारंभ करेंगे, साथ ही मुख्य मंदिर के पास 30 करोड़ रुपये की लागत से बनने वाले पार्वती मंदिर की वर्चुअल तरीके से आधारशिला रखेंगे। इस खास कार्यक्रम का आयोजन सोमनाथ मंदिर के राम मंदिर सभागार में आज (शुक्रवार) किया जाएगा।
इन परियोजनाओं के अंतर्गत मंदिर के पीछे समुद्र तट पर 49 करोड़ रुपये की लागत से बना एक किलोमीटर लम्बा समुद्र दर्शन मार्ग, पुरानी कलाकृतियों से युक्त नवनिर्मित सभागार और मुख्य मंदिर के सामने बने नवीनीकृत अहिल्याबाई होल्कर मंदिर यानी पुराना सोमनाथ मंदिर को भी शामिल किया गया है। गृहमंत्री और सोमनाथ मंदिर के संरक्षक अमित शाह भी वीडियो कांफ्रेंस के जरिये इस समारोह में भाग लेंगे।