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रीवा: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने पिछली कांग्रेस सरकारों पर आजादी के बाद देश में गांवों के साथ सौतेला व्यवहार करने और उनका भरोसा तोड़ने का आरोप लगाया है। राष्ट्रीय पंचायती राज दिवस के अवसर पर कई विकास परियोजनाओं का वर्चुअल तरीके से उद्घाटन, शिलान्यास करने के बाद रीवा में एक सार्वजनिक कार्यक्रम को संबोधित करते हुए मोदी ने कहा कि भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के नेतृत्व वाली सरकार ने स्थिति को बदल दिया है और पंचायतों को भरपूर अनुदान दिया है।

मोदी ने कहा, ‘‘आजादी के बाद जिस दल ने सबसे ज्यादा समय तक सरकार चलाई उसने ही गांव के लोगों का भरोसा तोड़ दिया। गांव में रहने वाले लोगों, सड़कों, भंडार के स्थानों, स्कूलों ,बिजली, अर्थव्यवस्था सभी को कांग्रेस शासन के दौरान सरकारी प्राथमिकता में सबसे नीचे की पायदान पर रखा गया। देश की आधी से ज्यादा आबादी जिन गांवों में रहती है, उन गांवों के साथ इस तरह सौतेला व्यवहार कर देश आगे नहीं बढ़ सकता है।''

मोदी ने कहा, ‘‘पहले की सरकारें गांवों के लिए पैसा खर्च करने में हिचकिचाती थीं क्योंकि वे वोट बैंक नहीं थे। इसलिए उनकी उपेक्षा की गई। कई राजनीतिक दल गांव के लोगों को बांट कर अपनी दुकान चला रहे थे।''

उन्होंने कहा कि भाजपा ने गांवों के साथ हुए इस अन्याय को खत्म किया है और उनके विकास के लिए तिजोरी खोल दी है। प्रधानमंत्री ने राष्ट्रीय पंचायती राज दिवस की शुभकामनाएं देते हुए कहा कि रीवा में आयोजित कार्यक्रम से देश भर के 30 लाख से अधिक पंचायत प्रतिनिधि वर्चुअली जुड़े हैं। उन्होंने कहा, ‘‘यह निश्वत रुप से भारत के लोकतंत्र के एक बहुत शक्तिशाली तस्वीर है।'' मोदी ने कहा कि 2014 से पहले के 10 वर्षों में, तत्कालीन केंद्र सरकारों की मदद से लगभग 6,000 पंचायत भवनों का निर्माण किया गया था। उन्होंने कहा, ‘‘लेकिन हमारी सरकार ने आठ साल की भीतर 30 हजार से अधिक नए पंचायत भवनों का निर्माण कराया है।''

"2014 के बाद से हमने अपनी पंचायतों के सशक्तिकरण का बीड़ा उठाया"

प्रधानमंत्री ने कहा, ‘‘ 2014 के बाद से हमने अपनी पंचायतों के सशक्तिकरण का बीड़ा उठाया गया। आज उसके परिणाम नजर आ रहे हैं। आज भारत की ग्राम पंचायतें गांव के विकास की प्राणवायु बनकर उभर रही हैं।'' उन्होंने पूर्ववर्ती कांग्रेस की सरकारों पर पंचायत व्यवस्था को नजर अंदाज करने का आरोप लगाते हुए कहा, ‘‘जो व्यवस्था सैकड़ों साल पहले थी उसी पंचायती राज व्यवस्था पर आजादी के बाद भरोसा ही नहीं किया गया। पूज्य बापू कहते थे भारत की आत्मा गांवों में बसती है, लेकिन कांग्रेस ने गांधी के विचारों को भी अनसुना कर दिया। 90 के दशक में पंचायती के राज के नाम पर खानापूर्ति जरुर की गयी लेकिन पंचायतों पर ध्यान नहीं दिया गया, जिसकी जरूरत थी।''

"डिजिटल क्रांति के इस दौर में पंचायतों को भी स्मार्ट बनाया जा रहा है"

मोदी ने मौजूदा शासन में ग्रामीण क्षेत्रों के डिजिटल विकास का जिक्र करते हुए कहा कि डिजिटल क्रांति के इस दौर में पंचायतों को भी स्मार्ट बनाया जा रहा है। उन्होंने कहा कि ई-ग्राम स्वराज-जीईएम (सरकारी ई-मार्केटप्लेस) एकीकृत पोर्टल सोमवार को जारी किया गया है, जिससे पंचायतों के माध्यम से होने वाली उपार्जन की प्रक्रिया सरल एवं पारदर्शी बनेगी। उन्होंने कहा, ‘‘गांवों में घरों की संपत्ति के कागजात को लेकर बहुत परेशानियां है। इस वजह से कई तरह के विवाद और अवैध कब्जे की बातें होती हैं। लेकिन अब, ये सभी चीजें 'पीएम स्वामित्व योजना' के साथ बदल रही हैं।'

"गांवों में अब बैंक संचालित हो रहे हैं"

प्रधानमंत्री ने कहा कि देश के गांवों में अब बैंक संचालित हो रहे हैं इससे ग्रामीण इलाकों में खेती किसानी और कारोबार में मदद हो रही है। मोदी ने कहा, ‘‘हमने जन धन योजना में गांवों में 40 करोड़ से अधिक लोगों के बैंक खाते खोले हैं। हमने इंडिया पोस्ट पेमेंट्स बैंक के जरिए गांवों तक बैंकों की पहुंच बढ़ाई है।'' उन्होंने कहा कि पिछली सरकारों ने 70 से भी कम ग्राम पंचायतों को ऑप्टिकल फाइबर (सिस्टम) से जोड़ा था।

उन्होंने कहा, ‘‘लेकिन हमारी सरकार है, जिसने देश की दो लाख से अधिक पंचायतों को ऑप्टिकल फाइबर से जोड़ दिया है।'' प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि विकसित भारत के लिए देश की हर पंचायत, हर संस्था, हर जनप्रतिनिधि, हर नागरिक को जूझना होगा और यह तभी संभव है जब हर सरकारी सुविधा बिना किसी भेदभाव के 100 प्रतिशत लाभार्थियों तक तेजी से पहुंचे। उन्होंने कहा कि भारत में गांवों की आर्थिक व्यवस्था को विकसित करना जरूरी है। उन्होंने कहा कि देश को विकसित बनाने के लिए पंचायत व्यवस्था को मजबूत करना भी जरूरी है।

उन्होंने कहा, ‘‘इसी सोच के साथ हमारी सरकार देश की पंचायत राज व्यवस्था को मजबूत करने के लिए लगातार काम कर रही है। प्रधानमंत्री ने कहा कि जनता के समर्थन के चलते उनका रेडियो प्रसारण ‘‘ मन की बात'' का 100 वां संस्करण पूरा करने के लिए तैयार है। मोदी ने कहा कि वह भी 100वें एपिसोड (30 अप्रैल को) का बेसब्री से इंतजार कर रहे हैं। उन्होंने लोगों से इस अवसर पर उनके साथ जुड़ने का आग्रह किया।

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