नैरोबी: भारत और केन्या ने अपने संबंधों को मजबूत करने के क्रम में सोमवार को विभिन्न क्षेत्रों में सहयोग को गहरा और विस्तृत करने का फैसला किया और उन्होंने सात करारों पर हस्ताक्षर भी किए जिनमें रक्षा और सुरक्षा के क्षेत्र में तथा दोहरे कराधान से बचने से संबंधित समझौते शामिल हैं। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने नैरोबी में केन्याई राष्ट्रपति उहुरू केन्याता के साथ अपनी बातचीत के बाद इस अफ्रीकी देश को चार करोड़ 49 लाख 50 हजार डॉलर की रियायती ऋण सहायता के विस्तार की भी घोषणा की, जिसका उद्देश्य लघु और मध्यम उद्योगों और कपड़ा क्षेत्र के विकास में उसकी मदद करना है। भारत, केन्या में एक कैंसर अस्पताल का निर्माण भी करेगा, जिसमें गुणवत्तापरक और रियायती स्वास्थ्य सुविधाएं प्रदान की जाएंगी। पीएम मोदी ने केन्याता से बातचीत के बाद उनके साथ संयुक्त मीडिया वार्ता में कहा, 'बहुआयामी विकास साझेदारी हमारे द्विपक्षीय संबंधों का मुख्य स्तंभ है।' उन्होंने कहा, 'केन्याता और उन्होंने इस बात पर सहमति जताई कि आतंकवाद और कट्टरता दोनों देशों के लिए, क्षेत्र और पूरी दुनिया के लिए समान चुनौती हैं। हम साइबर सुरक्षा के क्षेत्र में, मादक पदार्थों और नारकोटिक्स तथा मानव तस्करी से लड़ने के क्षेत्र समेत अपनी सुरक्षा साझेदारी को गहन करने के लिए रजामंद हुए।' रक्षा सहयोग पर हुए एमओयू में कर्मचारियों के आदान-प्रदान, विशेषज्ञता साझेदारी, हाइड्रोग्राफी में प्रशिक्षण, सहयोग और उपकरण आपूर्ति के प्रावधान होंगे।
पीएम मोदी ने कहा कि दोनों देशों के सुरक्षा में साझा समान हित हैं, जिनमें समुद्री सुरक्षा शामिल है, क्योंकि हिंद महासागर दोनों को जोड़ता है। उन्होंने कहा, 'समुद्री सुरक्षा के क्षेत्र में करीबी सहयोग हमारी रक्षा और सुरक्षा साझेदारी में महत्वपूर्ण स्थान रखता है।' प्रधानमंत्री ने कहा कि केन्या के विकास उद्देश्यों में सहायता करने के लिए भारत अपने विकास अनुभवों और विशेषज्ञता को साझा करने के लिए तैयार है।