नई दिल्ली: केंद्रीय मंत्रिमंडल ने आज बड़े पैमाने पर स्पेक्ट्रम नीलामी योजना को मंजूरी दे दी। इससे सरकारी खजाने में 5.66 लाख करोड़ रपये आने की उम्मीद है। एक आधिकारिक सूत्र ने बताया कि स्पेक्ट्रम नीलामी प्रस्ताव को मंजूर कर लिया गया है। सरकार को 2300 मेगाहट्र्ज स्पेक्ट्रम नीलामी से कम से कम 64,000 करोड़ रपये मिलने की उम्मीद है। इसके अलावा दूरसंचार क्षेत्र में विभिन्न शुल्कांे तथा सेवाओं से 98,995 करोड़ रपये प्राप्त होंगे। सूत्रांे ने बताया कि नीलामी के लिये मुख्य दस्तावेज, आवेदन आमंत्रित करने का नोटिस संभवत: एक जुलाई को जारी किया जाएगा। इसके बाद 6 जुलाई को बोली पूर्व सम्मेलन होगा। बोलियां एक सितंबर से लगनी शुरू होने की उम्मीद है। हालांकि, योजना की आधिकारिक तौर पर पुष्टि नहीं हुई है। अंतर मंत्रालयी समिति द्वारा मंजूर नियमांे के तहत नीलामी में 700 मेगाहट्र्ज का प्रीमियम बैंड भी शामिल रहेगा। इस बैंड के लिए आरक्षित मूल्य 11,485 करोड़ रपये प्रति मेगाहट्र्ज रखा गया है। इस बैंड में सेवा प्रदान करने की लागत अनुमानत: 2100 मेगाहट्र्ज बैंड की तुलना में 70 प्रतिशत कम है, जिसका इस्तेमाल 3जी सेवाएं प्रदान करने के लिए किया जाता है।
यदि कोई कंपनी 700 मेगाहट्र्ज बैंड में स्पेक्ट्रम खरीदने की इच्छुक है, तो उसे अखिल भारतीय स्तर पर 5 मेगाहट्र्ज के ब्लाक के लिए कम से कम 57,425 करोड़ रपये खर्च करने होंगे। इस बैंड में अकेले 4 लाख करोड़ रपये की बोलियां आकषिर्त करने की क्षमता है।