बर्लिन: जर्मनी के एसेन शहर में करीब दो सप्ताह पहले एक गुरुद्वारे पर बम हमला करने के आरोपी दो किशोर विद्यार्थी कट्टर इस्लामी हैं और इस्लामिक स्टेट (आईएस) एवं अल-कायदा के हमदर्द हैं। माध्यमिक स्कूल के इन दो विद्यार्थियों ने 16 अप्रैल की शाम को नानकसर सत्संग सभा गुरुद्वारा के प्रवेश द्वार पर कथित रूप से विस्फोटकों से भरे एक अग्निशामक में विस्फोट किया था। डसेलडोर्फ में राज्य संसद की गृह मामलों की समिति को कल पेश एक रिपोर्ट में नार्थ राइन वेस्टफालिया के गृह मंत्री राल्फ जेगर ने कहा कि विस्फोट करने से पहले 16 वर्ष के इन दो विद्यार्थियों ने प्रवेश द्वार से गुरुद्वारे में घुसने की असफल कोशिश की थी। रिपोर्ट में कहा गया है कि उन्होंने इस हमले की जिम्मेदारी ली है, लेकिन इस बात से इनकार किया है कि यह एक धार्मिक प्रेरणा से किया गया हमला था। इनमें से एक लड़के ने पुलिस द्वारा पूछताछ करने पर आईएस और अल-कायदा के लिए अपनी हमदर्दी भी जाहिर की। इस हमले में गुरुद्वारे का एक ग्रंथी बुरी तरह से घायल हो गया था जिसे एक अस्पताल में भर्ती कराया गया, जबकि दो अन्य को मामूली चोटें आई थीं।
इस हमले से गुरद्वारा भवन को काफी नुकसान पहुंचा था।