लखनऊ: उत्तर प्रदेश मंत्रिपरिषद ने गुरुवार को कई महत्वपूर्ण फैसले किये, जिनमें दोपहिया वाहनों पर पीछे बैठने वालों के लिए हेलमेट पहनने की अनिवार्यता, बडे शहरों के बीच विमान से यात्रा का प्रस्ताव तथा यमुना और वरूणा नदियों के तटों और घाटों का सौन्दर्यीकरण शामिल है। राज्य सरकार के प्रवक्ता ने बताया कि मुख्यमंत्री अखिलेश यादव की अध्यक्षता में हुई राज्य मंत्रिपरिषद की बैठक में नगर निकायों में 40 हजार सफाई कर्मियों की संविदा पर भर्ती एवं नियुक्ति के सम्बन्ध में 21 दिसम्बर 2015 के शासनादेश में संशोधन का प्रस्ताव मंजूर किया गया। एक अन्य फैसले में मंत्रिपरिषद ने रामपुर में जेल रोड स्थित झील के विकास एवं सौन्दर्यीकरण सम्बन्धी पुनरीक्षित व्यय एवं कार्यमद को स्वीकृति प्रदान की। आजमगढ़ जिले की नगर पालिका परिषद, मुबारकपुर का सीमा विस्तार किए जाने के प्रस्ताव को मंजूरी दी। राज्य सहायता प्राप्त अरबी फारसी मदरसों के नियमित वेतन वितरण के मकसद से वेतन वितरण विधेयक पारित कराए जाने के प्रस्ताव को मंजूरी दी। प्रवक्ता ने बताया कि मंत्रिपरिषद ने सैफई स्थित ग्रामीण आयुर्विज्ञान एवं अनुसंधान संस्थान में 500 बेड के सुपर स्पेशियलिटी हॉस्पिटल के निर्माण से सम्बन्धित अनुमानित लागत को मंजूरी दे दी, जो 463.29 करोड रूपये है। बलिया में गंगा नदी पर श्रीरामपुर घाट पर अत्याधुनिक (स्टेट ऑफ द आर्ट) पुल के निर्माण तथा पुनरीक्षित लागत की प्रशासकीय एवं विभागीय स्वीकृति भी प्रदान कर दी गयी है। पुनरीक्षित लागत लगभग 630 करोड़ रूपये है। उन्होंने बताया कि दिल्ली के द्वारका में राज्य अतिथि गृह के निर्माण का प्रस्ताव भी मंजूर किया गया है। इसके निर्माण पर 45.32 करोड रूपये का व्यय आने का अनुमान है।
राजधानी लखनऊ में कुकरैल स्थित घड़ियाल पुनर्वास केन्द्र को ‘जैव विविधता विरासत स्थल’ घोषित किए जाने का निर्णय भी मंत्रिपरिषद ने किया है। प्रवक्ता ने बताया कि लखनऊ में लोहिया पथ, चिड़ियाघर, पुलिस महानिदेशक कार्यालय तथा डालीबाग के बीच हैदर कैनाल के दोनों ओर रिक्त जगह का विकास किया जाएगा और यहां पर 120 एमएलडी का सीवरेज ट्रीटमेंट संयंत्र स्थापित किया जाएगा। इस आशय का प्रस्ताव मंत्रिपरिषद ने मंजूर किया। परियोजना की अनुमानित लागत 247.54 करोड रूपये है। उन्होंने बताया कि लखनऊ की सुचारु बिजली आपूर्ति के लिए 400 केवी उपकेन्द्र हरदोई रोड एवं तत्सम्बन्धी लाइन के निर्माण कराने का निर्णय किया गया है। चित्रकूट जिले की पहाड़ी में 220 केवी उपकेन्द्र तथा इससे सम्बन्धित लाइन के निर्माण का फैसला किया गया। साथ ही इलाहाबाद के मसौली में 400 केवी उपकेन्द्र तथा इससे सम्बन्धित लाइनों के निर्माण की अनुमति प्रदान की गयी है।