चित्रकूट: देवी प्रतिमाओं के विसर्जन के लिए दूसरे रास्ते से जाने का दबाव बनाने पर श्रद्धालुओं का पुलिस प्रशासन से विवाद हो गया। बात बढ़ी तो पुलिस ने लाठियां फटकार कर श्रद्धालुओं को भगा दिया। इससे भड़के युवकों ने पटेल तिराहे पर पथराव कर महोबा डिपो की बस के शीशे तोड़ दिए। यात्रियों के उतरने पर उसमें आग भी लगा दी। खबर मिलते ही फोर्स लेकर मौके पर पहुंचे डीएम मोनिका रानी और एसपी केके चौधरी ने किसी तरह हालात संभाले। फोर्स को देख उत्पाती भाग निकले। पुलिस प्रशासन ने प्रतिमाओं को अपनी निगरानी में विसर्जित करा दिया। बुधवार शाम लगभग सात बजे इलाहाबाद रोड़, शंकर बाजार और एलआईसी चौराहे के पास के देवी पंडालों के आयोजक प्रतिमाओं कोे विसर्जित करने के लिए हाइवे से नदी की ओर जा रहे थे। मुख्यालय के ट्रैफिक चौराहे पर मौजूद एसडीएम ने बाई पास मार्ग से जाने को कहा ताे नोंकझोंक होने लगी। नाराज आयोजक ट्रैक्टर में लदी प्रतिमाओं को सड़क पर ही छोड़कर जाने लगे। इस बीच एक ट्रैक्टर आगे बढ़ा। एसडीएम ने उसे रोकने का प्रयास किया। इससे भड़के युवकों पर पुलिस डंडे फटकारने लगी। इससे वहां भगदड़ मच गई। इस दौरान कुछ युवक गिरकर चुटहिल हो गए। उन्होंने आरोप लगाया कि पुलिस ने उन्हें लाठियों से पीटा है। वहां से भागे युवक लगभग सौ मीटर दूर पटेल तिराहे पर एकत्र हुए। इस बीच इलाहाबाद से आ रही महोबा डिपो की बस रोक ली और पथराव कर उसके पिछले हिस्से के शीशे तोड़ दिए। यह देख यात्री बस से उतरकर भागने लगे।
इस बीच कुछ युवकों ने बस के पिछले हिस्से में आग लगा दी। बवाल की खबर पाकर डीएम मोनिका रानी और एसपी केके चौधरी भी माैके पर पहुंच गए। एेहतियातन मौके पर बड़ी संख्या में फोर्स तैनात कर दी गई।