हैदराबाद: दलित छात्र रोहित वेमुला की खुदकुशी मामले को लेकर कांग्रेस पर निशाना साधने के लिए मानव संसाधन विकास मंत्री स्मृति ईरानी ने इस विपक्षी पार्टी के सांसद पी हनुमंत राव का एक पत्र पेश किया था, जिस पर राव ने पलटवार करते हुए कहा कि मंत्रालय ने उनके पत्र पर ‘उचित कदम’ उठा लिया होता तो नौजवान छात्र की जान बच गई होती। राव ने कहा कि मंत्री को मेरा पत्र नवंबर, 2014 में मिला था। लेकिन उन्होंने इतने दिनों तक मेरे पत्र की कोई परवाह नहीं की। इतने दिनों तक वह और उनकी सरकार क्या कर रही थी? उन्हें मेरे पत्र की याद उस वक्त आई जब बंडारू दत्तात्रेय ने पत्र लिखा। अगर सरकार ने मेरे पत्र पर कदम उठाया होता तो रोहित को खुदकुशी जैसा कदम नहीं उठाना पड़ता।
उनका यह बयान उस वक्त आया है जब आज दिन में स्मृति ईरानी ने दत्तात्रेय के पत्र के मुद्दे को तवज्जो नहीं देने का प्रयास करते हुए राव की ओर से लिखे गए पत्र का हवाला दिया।