ताज़ा खबरें
वक्फ संशोधन बिल पर जेपीसी की रिपोर्ट शीतकालीन सत्र में नहीं होगी पेश

पटना: बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने मंगलवार को घोषणा की कि राज्य के शराबबंदी क़ानून में जल्द संशोधन किया जाएगा। नीतीश ने कहा कि 'कब कहां क्या ज़रूरत है, सुधार की क्या-क्या अवश्यकता है, इस पर मंथन चल रहा है। जो भी संशोधन करना है, वह करेंगे।' नीतीश अपनी पार्टी जनता दल यूनाइटेड के एक कार्यक्रम में बोल रहे थे। उन्होंने कहा कि 'ऐसा मत समझिए कि हम लोगों की बात नहीं सुनते हैं। कहीं कोई कानून के प्रावधान हैं, जिसका सरकारी तंत्र के लोग लाभ उठा रहे हैं, तो लोगों को इसके कष्ट नहीं झेलना पड़ें, इसके उपाय किए जा रहे हैं।'

नीतीश के भाषण से कई बातें साफ़ झलक रही थीं, जैसे उनको इस बात का विश्वास है कि शराबबंदी के बावजूद लोगों को शराब उपलब्ध हो रही है। इस पर उन्होंने कहा कि 'कुछ लोग पी रहे होंगे, लेकिन घर में छुपकर पी रहे हैं।' शराबबंदी के बाद गिरफ़्तार अधिकांश लोग ग़रीब हैं। इस पर नीतीश का तर्क था सबसे ज़्यादा लाभ भी इन लोगों को हो रहा है। शराबबंदी के बहाने प्रशासनिक और पुलिस विभाग के लोग जमकर चांदी काट रहे हैं। इस पर नीतीश का कहना था कि 'मुझे मालूम है और ये कोई नई बात नहीं है।' उनका दावा है कि लोगों पर नज़र रखी जा रही है।

नीतीश ने बताया कि एक-एक चीज़ की समीक्षा इस महीने के तीसरे हफ़्ते में करेंगे। उन्होंने माना कि इस धंधे में लगे लोगों को रोज़गार के अवसर उपलब्ध कराना उनकी पहली प्राथमिकता होगी। शराबबंदी के मुद्दे पर उनकी और उनकी सरकार की आलोचना पर नीतीश ने कहा कि अनाप शनाप कई तरह के विश्लेषण होते रहते हैं। उन्होंने कहा कि उन्होंने जो कदम उठाया है इसके लिए उन्हें भुगतना पड़ेगा और वे इसके लिए तैयार हैं।

  • देश
  • प्रदेश
  • आलेख