इस्लामाबाद: पाकिस्तान के प्रधानमंत्री नवाज शरीफ ने पनामा पेपर्स लीक के मद्देनजर मंगलवार को किसी वित्तीय गड़बड़ी की जांच के लिए उच्चस्तरीय न्यायिक आयोग गठित किया। एक दिन पहले ही विदेशी कंपनियों में मालिकाना हक को लेकर ‘पनामा पेपर्स’ में उनके तीन बच्चों के नाम सामने आए थे। इस खुलासे के बाद विपक्ष ने जांच की मांग की थी। राष्ट्र को संबोधित करते हुए शरीफ ने उनके और उनके परिवार के खिलाफ आरोपों की जांच के लिए आयोग के गठन की घोषणा की। उन्होंने कहा, 'मैं एक न्यायिक आयोग के गठन की घोषणा करता हूं जिसका नेतृत्व सुप्रीम कोर्ट के एक पूर्व न्यायाधीश करेंगे। यह आयोग आरोपों पर गौर करेगा और पूरी जांच के बाद अपना फैसला सुनाएगा।' शरीफ ने उनके परिवार द्वारा नियंत्रित कारोबार की विस्तृत पृष्ठभूमि बताई और कहा कि पाकिस्तान की स्थापना से भी कई वर्ष पहले यह कारोबार स्थापित हो चुका था। उन्होंने कहा कि अतीत में उनके कारोबार को बर्बाद करने के कई प्रयासों के बावजूद उन्होंने और उनके परिवार ने करीब छह अरब रुपये की बकाया राशि का भुगतान किया।
शरीफ ने कहा, 'मेरे परिवार ने कई आरोप झेले हैं। मेरा परिवार बहुत समय तक ऐसा कोई खास राजनीति में शामिल नहीं था, मेरे राजनीति में आने से पहले हमारा स्थापित औद्योगिक परिवार था।'