इस्लामाबाद: पाकिस्तान ने अमेरिका की ओर से हिज्बुल मुजाहिदीन के सरगना सैयद सलाहुद्दीन को 'वैश्विक आतंकवादी' घोषित किए जाने के कदम को खारिज किया है। पाकिस्तान ने कहा कि यह संयुक्त राष्ट्र का फैसला नहीं था, बल्कि ट्रंप ने भारत को खुश करने के लिए यह निर्णय लिया। चीन पर 'दबाव' बनाने के लिए भारत की ओर से अमेरिका को अपनी सेवाएं दिए जाने का आरोप लगाते हुए पाकिस्तानी प्रधानमंत्री के विदेश मामलों के सलाहकार सरताज अजीज ने कहा कि भारत लंबे समय से कश्मीर मुद्दे को तवज्जो नहीं देने का प्रयास करता आ रहा है। 'कश्मीर जर्नलिस्ट फोरम' के प्रतिनिधिमंडल के साथ बातचीत करते हुए अजीज ने कहा कि सलाहुद्दीन को आतंकवादी घोषित किया जाना भारत को खुश करने का अमेरिकी प्रशासन का प्रयास है। समाचार पत्र 'डॉन' के अनुसार पाकिस्तान इस फैसले के लिए बाध्य नहीं है क्योंकि संयुक्त राष्ट्र का प्रस्ताव नहीं है। पाकिस्तान के प्रधानमंत्री के विदेश मामलों के सलाहकार सरताज अजीज ने आज कहा कि कश्मीर के बगैर भारत के साथ होने वाली किसी भी बातचीत को पाक स्वीकार नहीं करेगा। उन्होंने जोर देते हुये कहा कि इस्लामाबाद 'परिणामोन्मुखी' बातचीत के जरिए सभी विवादास्पद मुद्दों को सुलझाना चाहता है।
विदेश मंत्रालय में पीओके के 'कश्मीर जर्नलिस्ट फोरम' के 20 सदस्यीय एक प्रतिनिधिमंडल को संबोधित करते हुये अजीज ने कहा, 'भारत के जुझारू तेवर और अपनी शर्तों' पर कश्मीर के बिना बातचीत करने के ख्वाहिश कभी भी स्वीकार्य नहीं होगी।' उन्होंने कहा कि संयुक्त राष्ट्र प्रमुख एंटोनियो गुतेरास ने भारत और पाकिस्तान के बीच तनाव पर अपनी चिंता व्यक्त की है और एक वातार् का आह्वान किया और कश्मीर मुद्दे को सुलझाने में मदद के लिए एक भूमिका निभाने का प्रस्ताव दिया। अजीज ने कहा कि कश्मीर मुद्दे को सुलझा कर दोनों देशों के बीच तनाव को कम करने के लिए भारत द्वारा संयुक्त राष्ट्र की भूमिका को स्वीकार करने से इंकार करना या अन्य नेताओं के प्रभाव के इस्तेमाल को स्वीकार करने से मना करना, दिखाता है कि 'भारत घाटी में मानवता के खिलाफ अपने अपराधों को छुपाने के लिए ऐसा करता है। पाकिस्तान पर करारा हमला बोलते हुए भारत ने कहा कि हिज्बुल के आतंकी सैयद सलाहुद्दीन की भारत में आतंकी हमलों को अंजाम देने की स्पष्ट स्वीकारोक्ति और पाकिस्तान से मदद मिलने का कबूलनामा इस्लामाबाद की सीमापार आतंकवाद की नीति का सबूत है। विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता गोपाल बागले ने वैश्विक आतंकी सलाहुद्दीन द्वारा दिए गए एक साक्षात्कार से संबंधित एक सवाल के जवाब में कहा कि उसकी स्वीकारोक्ति पड़ोसियों के खिलाफ नीति के तौर पर छदम आतंकियों का इस्तेमाल करने में पाकिस्तान के सरकारी ढांचे की संलिप्तता की पुष्टि करती है। बागले ने कहा कि पाकिस्तान को सीमा पार आतंकवाद की अपनी नीति को छोड़कर अंतरराष्ट्रीय संकल्पों के तहत अपने दायित्वों को पूरा करना चाहिए और अपने नियंत्रण में आने वाले सभी क्षेत्रों से आतंकी गतिविधियों को रोकना चाहिए। पाकिस्तान के एक टीवी चैनल को दिए साक्षात्कार में सलाहुद्दीन ने कहा था कि वह भारत में कभी भी और कहीं भी हमला कर सकता है और उन आतंकी हमलों के लिए पाकिस्तान में हथियारों का बंदोबस्त करना उसके लिए आसान है।