नई दिल्ली: मोदी सरकार में मंत्री और एनडीए की सहयोगी राष्ट्रीय लोक लोकसमता पार्टी के मुखिया उपेंद्र कुशवाहा ने बिहार एनडीए में चली आ रही खींचतान पर बड़ा बयान दिया है। लोकसभा चुनाव 2019 में बिहार एनडीए में सीट के बंटवारे के मामले में केंद्रीय मंत्री उपेंद्र कुशवाहा ने कहा कि कुछ लोग जानबूझ कर एनडीए में मतभेद पैदा करने के लिए अफवाह फैला रहे हैं। गौरतलब है कि गुरुवार को ऐसी खबर आई थी कि भाजपा ने बिहार एनडीए में सीट बंटवारे को लेकर एक फॉर्मूला सुझाया है, जिसके तहत भाजपा 20 सीटों पर चुनाव लड़ने पर विचार कर रही है, वहीं जदयू को 12+1 सीट देने पर विचार कर रही है।
केंद्रीय मंत्री तथा आरएलएसपी नेता उपेंद्र कुशवाहा ने एनडीए के भीतर सीट बंटवारे को लेकर कहा कि एनडीए में कुछ लोग हैं, जो नहीं चाहते हैं कि मोदी जी फिर से प्रधानमंत्री बनें। ऐसे लोग जान-बूझकर इस तरह की अफवाहें फैलाते हैं, ताकि एनडीए में मतभेद पैदा हों।" उपेंद्र कुशवाहा का बयान ऐसे वक्त में आया है, जब ऐसी अटकलें लगाई जा रही थीं कि वह एनडीए की सीट शेयरिंग फॉर्मूले से खुश नहीं हैं।
साथ ही 'यदुवंशी के दूध और कुशवंशी के चावल' से खीर बनाने वाली बात से यह बात जोर पकड़ने लगी थी कि 2019 लोकसभा चुनाव से पहले कुशवाहा कहीं राजद खेमे में भी जा सकते हैं।
जब सीटों के बंटवारा के बारे में उपेन्द्र कुशवाहा से पूछा गया तो उन्होंने कहा कि मीडिया के माध्यम से जो ख़बरें चल रही हैं, वह ग़लत और भ्रामक ख़बरें हैं। उन्होंने कहा कि अभी कोई बैठक नहीं हुई है। कुछ भी तय नहीं हुआ है। यह बात सिर्फ हम नहीं बोल रहे, बल्कि भाजपा की ओर से भी अधिकृत व्यक्ति का बयान आ गया है। कोई विवाद नहीं है। लेकिन जिस तरह से ख़बर आ रही है हम पूरी जिम्मेदारी से बोल रहे हैं इस तरह की ख़बर एनडीए का नुक़सान कर रही हैं और ऐसा कुछ लोग जानबूझकर कर रहे हैं।
कुशवाहा ने कहा कि 'एनडीए में भी कुछ लोग हैं जो नरेंद्र मोदी जी को दुबारा भारत का प्रधानमंत्री बनते हुए नहीं देखना चाहते हैं। ऐसे लोग ऐसी भ्रामक ख़बरें फैलाते हैं, जिससे एनडीए में विवाद हो जाये। पटना में संवाददाता सम्मेलन के दौरान उपेंद्र कुशवाहा ने कहा कि आने वाले समय में हमारी पार्टी पूरे राज्य में खीर यात्रा करेगी। उन्होंने कहा इस यात्रा के दौरान खीर बनेगी और सभी जातियों के लोगों के साथ खायी जायेगी। उन्होंने कहा कि 'देखिए मेरे साथ खीर बनाने वाले और खाने वाले लोग होंगे, ना कि ख़याली पुलाव बनाने वाले लोग।'
गौरतलब है कि गुरुवार को खबर आई कि 2019 के लोकसभा चुनाव में बिहार में एनडीए के सीट बंटवारे को लेकर भाजपा ने फॉर्मूला तैयार कर लिया है। भाजपा ने जो फॉर्मूला तैयार किया है उसके मुताबिक, भाजपा बिहार की 20 लोकसभा सीटों पर चुनाव लड़ सकती है। आपको बता दें कि अभी बिहार में भाजपा के पास 22 सांसद हैं। वहीं इस सीट बंटवारे के फॉर्मूले से साफ है कि भाजपा लोकसभा चुनाव में अपने सहयोगी दलों को साथ लेकर चलना चाहती है। इसलिए भाजपा नाराज चल रहे सहयोगी दल जेडीयू को आगामी लोकसभा चुनाव में 12+1 सीट देने के फॉर्मूले पर विचार कर रही है। जेडीयू के पास मौजूदा वक्त में 2 लोकसभा सांसद हैं और भाजपा 2019 के लोकसभा चुनाव में जेडीयू 12 +1 सीट दे सकती है। इसमें से 12 सीट जेडीयू को बिहार में और एक सीट झारखंड़ या यूपी में दे सकती है।
वहीं राम विलास पासवान की पार्टी एलजेपी के पास फिलहाल 6 सांसद हैं और 2014 के लोकसभा चुनाव में एलजेपी ने 7 सीटों पर चुनाव लड़ा था। लेकिन इस बार बिहार में एनडीए के सीटों के बंटवारे में एलजेपी की सीटें घट सकती हैं। भाजपा एलजेपी को इस बार सिर्फ 5 सीटें देने पर विचार कर रही है।
आपको बता दें कि पिछले लोकसभा चुनाव में भाजपा को बिहार की 40 में से 22 सीटें मिलीं थीं, जबकि सहयोगी लोक जनशक्ति पार्टी (लोजपा) और राष्ट्रीय लोक समता पार्टी (रालोसपा) को क्रमश: छह और तीन सीटें मिलीं थीं। तब जेडीयू को केवल दो सीटें ही मिलीं थीं। वहीं, 2015 के विधानसभा चुनाव में बिहार की 243 सीटों में से जेडीयू को 71 सीटें मिलीं थीं। तब भाजपा को 53 और लोजपा एवं रालोसपा को क्रमश: दो-दो सीटें मिलीं थीं। उस चुनाव में जेडीयू, राष्ट्रीय जनता दल (राजद) तथा कांग्रेस का महागठबंधन था।