नई दिल्ली: मध्य प्रदेश के मंत्री नरोत्तम मिश्रा को चुनाव आयोग ने अयोग्य घोषित कर दिया है। उन पर 2008 के चुनाव के दौरान पेड न्यूज के आरोप लगाए गए थे। चुनाव आयोग के इस फैसले के बाद अब नरोत्तम मिश्रा अगले तीन सालों तक कोई चुनाव नहीं लड़ सकेंगे। गौरतलब है कि मध्य प्रदेश में 2018 के दिसंबर में विधानसभा चुनाव हो सकते हैं। चुनाव आयोग ने पाया कि उन्होंने साल 2008 के विधानसभा चुनाव में पेड न्यूज पर खर्च की गई रकम को अपने चुनावी खर्च में नहीं दर्शाया था। कांग्रेस के पूर्व विधायक राजेंद्र भारती की 2009 में की गई शिकायत पर यह फैसला आया है। उन्होंने नरोत्तम मिश्रा पर 2008 के चुनावों के दौरान करप्ट प्रैक्टिस और पेड न्यूज का आरोप लगाया था। चुनाव आयोग ने जनवरी 2013 में नोटिस जारी कर नरोत्तम मिश्रा से जवाब मांगा था। काफी समय से ये मामला लंबित था जिस पर शनिवार को चुनाव आयोग ने फैसला सुनाया है। गौरतलब है कि नरोत्तम मिश्रा इस मामले के खिलाफ 2015 में हाईकोर्ट भी गए थे लेकिन उनको वहां से कोई राहत नहीं मिली थी। हाईकोर्ट ने नरोत्तम मिश्रा की याचिका खारिज कर दी थी। इसके बाद वह सुप्रीम कोर्ट भी गए लेकिन उन्हें वहां से भी राहत नहीं मिल पाई। नरोत्तम मिश्रा मध्यप्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान के काफी करीबी माने जाते हैं। उनके पास जल संसाधन, जनसंपर्क और संसदीय कार्य मंत्रालय का जिम्मा है।
इससे पहले 2011 में बाहुबली डीपी यादव को चुनाव आयोग ने बड़ा सियासी झटका दिया था। आयोग ने चुनाव में निर्धारित से अधिक रकम खर्च करने की शिकायत पर बिसौली से विधायक डीपी की पत्नी उमलेश यादव की सदस्यता रद्द कर दी थी।