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'हाईकोर्ट के आदेश तक ट्रायल कोर्ट कोई कार्रवाई न करे': सुप्रीम कोर्ट

औरंगाबाद: महाराष्ट्र के औरंगाबाद में ऑल इंडिया मजलिस-ए-इत्तेहादुल मुस्लिमीन (एआईएमआईएम) के सांसद इम्तियाज जलील को पुलिस ने बुधवार को हिरासत में ले लिया। एक वरिष्ठ अधिकारी ने बताया कि सांसद जलील कोविड-19 प्रतिबंधों को तोड़ते हुए एक मस्जिद में नमाज अदा करने जा रहे थे। स्थानीय सांसद और पार्टी की राज्य इकाई के अध्यक्ष इम्तियाज जलील ने पिछले सप्ताह कहा था कि अगर राज्य सरकार सभी धार्मिक स्थलों को खोलने में विफल रहती है तो वह मस्जिद में नमाज अदा करने जाएंगे। कोविड-19 महामारी के चलते राज्य में सभी धार्मिक स्थलों के खुलने पर रोक है।

अधिकारी ने बताया कि जलील को तब हिरासत में लिया गया जब वह शाहगंज मस्जिद की ओर जा रहे थे। इसके बाद उन्हें शहर पुलिस कमिश्नर के कार्यालय ले जाया गया। जलील ने कहा कि अगर राज्य सरकार धार्मिक स्थलों पर लगी रोक को नहीं हटाती है तो पूरे राज्य में ऐसी घटनाएं होने लगेंगी। पुलिस कमिश्नर चिरंजीव प्रसाद ने कहा कि जलील को उनके कार्यालय के पास से हिरासत में लिया गया था।

मुंबई: महाराष्ट्र में कोरोना संकट के चलते लॉकडाउन को 30 सितंबर तक बढ़ा दिया गया है। वहीं, एक जिले से दूसरे जिले में आवाजाही के लिए अब ई-पास की अनिवार्यता खत्म कर दी गई है। राज्य में अब बिना किसी मंजूरी, अनुमति अथवा ई-पास के एक जिले से दूसरे जिले में लोग आवाजाही कर सकेंगे।

सोमवार को राज्य सरकार ने मिशन बिगिन अगेन परिकल्पना के तहत कुछ गतिविधियों को शुरू करने की अनुमति दी है। इसके अनुसार राज्य में 2 सितंबर से जिला अंतर्गत परिवहन अर्थात यात्रियों को निजी बसों और मिनी बसों में सफर करने की अनुमति होगी। इस संबंध में परिवहन आयुक्त मानक संचालन प्रक्रिया (एसओपी) एसओपी जारी करेंगे। राज्य में सभी सरकारी कार्यालयों में ए और बी ग्रुप अधिकारियों की अब शतप्रतिशत उपस्थिति अनिवार्य रहेगी। 'ए' और 'बी' ग्रुप के अधिकारिकयों के अलावा बाकी के कर्मचारियों को मुंबई महानगर क्षेत्र (एमएमआर), पुणे और पिंपरी –चिंचवड महानगरपालिका क्षेत्र के सरकारी कार्यालयों में 30 प्रतिशत अथवा 30 कर्मचारियों (जो भी अधिक होगा) को आना होगा।

मुंबई: महाराष्ट्र में मंदिर खोलने के लिए हिंदुत्ववादी संगठन लगातार आंदोलन कर रहे हैं। विपक्षी दल भाजपा ने भी इसके समर्थन में घंटानाद आंदोलन किया है। इस बीच सोमवार को वंचित बहुजन आघाड़ी (वीबीए) के अध्यक्ष और भारत रत्न डॉ. भीमराव आंबेडकर के पौत्र प्रकाश आंबेडकर भी इस आंदोलन में कूद पड़े। प्रकाश आंबेडकर का आंदोलन में उतरना वंचित आघाड़ी का हिंदुत्व की ओर झुकाव माना जा रहा है।

सोमवार को वंचित बहुजन आघाड़ी ने विश्व वारकरी सेना और विभिन्न वारकरी संगठनों के साथ मिलकर सोलापुर के पंढरपुर में स्थित भगवान विट्ठल और देवी रुक्मिणी के मंदिर खोलने को लेकर आंदोलन किया। आंबेडकर के आंदोलन को लेकर सोलापुर जिला प्रशासन ने कड़ा सुरक्षा बंदोबस्त किया था। आंदोलनकारियों को पंढरपुर मंदिर में पहुंचने नहीं दिया गया। 

आंबेडकर पंढरपुर मंदिर में दर्शन करना चाह रहे थे। लेकिन जिला प्रशासन इसके लिए तैयार नहीं था। आंबेडकर मंदिर का द्वार खोलने और किसी भी हालत में मंदिर में जाने की जिद पर अड़ गए।

मुंबई: बॉम्बे हाईकोर्ट ने शुक्रवार को मुंबई में मोहर्रम के दौरान जुलूस निकालने की मंजूरी दे दी है। हालांकि, कोरोना महामारी के चलते कड़े प्रतिबंधों के बीच जुलूस निकालना होगा। जस्टिस एसजे कथावाला और जस्टिस माधव जामदार की पीठ ने स्थानीय शिया मुस्लिम संगठन की याचिका पर यह अनुमति दी, जिसने मोहर्रम के दौरान प्रतीकात्मक रूप से जुलूस निकालने की मंजूरी मांगी थी। महाराष्ट्र सरकार और शिया संगठन आल इंडिया इदारा-ए-तहाफुज-ए-हुसैनियात के बीच एक समझौता हुआ, जिसके बाद दोनों कोर्ट पहुंचे थे। इसके बाद कोर्ट ने अपनी रजामंदी दे दी।

कोर्ट के आदेश के मुताबिक, शिया समुदाय के लोगों 30 अगस्त को शाम 4:30 से 5:30 के बीच जुलूस निकालने की अनुमति दी गई है। वह भी ट्रक के जरिये पहले से तय रास्ते पर ही जुलूस निकाला जा सकेगा। पैदल जुलूस निकालने की इजाजत नहीं होगी। हर ट्रक में अधिकतम पांच लोगों की ही इजाजत होगी और सिर्फ पांच लोग ही ताजिये के साथ होंगे। जिन पांच लोगों को अनुमति दी गई है, उनके नाम और घर के पते मुंबई पुलिस को सौंपे गए हैं। वहीं, राज्य सरकार को भीड़ को नियंत्रित करने के लिए हरसंभव कदम उठाने को कहा गया है। 

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